दिल्ली : लाल बत्ती तोड़ी, कटा चालान और पुलिस की गिरफ्त में आया दुष्कर्म का आरोपी


सार

पुलिस को चालान से आरोपी की दिल्ली की लोकेशन मिल गई थी और ये पता लग गया कि आरोपी दिल्ली में वापस आ गया है। उसके आधार कार्ड से उसका मोबाइल नंबर मिला। चालान व मोबाइल के जरिए पुलिस ने उसे बुधवार को गिरफ्तार कर लिया। 

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दुष्कर्म के फरार आरोपी को दिल्ली में लाल बत्ती तोड़ना भारी पड़ गया। इसके चालान के जरिए पुलिस आरोपी तक पहुंच गई। पुलिस को चालान से आरोपी की दिल्ली की लोकेशन मिल गई थी और ये पता लग गया कि आरोपी दिल्ली में वापस आ गया है। उसके आधार कार्ड से उसका मोबाइल नंबर मिला। चालान व मोबाइल के जरिए पुलिस ने उसे बुधवार को गिरफ्तार कर लिया। 

पता चला कि कोर्ट ने आरोपी को भगोड़ा घोषित कर रखा था। 251 रुपये में मोबाइल खरीदने के मामले में आरोपी के साढू ने 700 करोड़ रुपये का घोटाला किया था। आरोपी की पहचान बिंडसर अपार्टमेंट, वैभव खंड, इंदिरापुरम गाजियाबाद निवासी विकास कुमार मित्तल(45) के रूप में हुई है।

दक्षिण-पश्चिमी जिला पुलिस अधिकारियों के अनुसार,  आरोपी का वर्ष 2020 में ईवेंट मैनेजमेंट का व्यवसाय था। उसने अपने ऑफिस में काम करने वाली युवती के साथ ऑफिस में दुष्कर्म किया था। उसने युवती को कोल्ड ड्रिंक में नशीला पदार्थ पिला दिया था। द्वारका(साउथ) थाना पुलिस ने दुष्कर्म का मामला दर्ज कर विकास कुमार मित्तल को गिरफ्तार किया था। 

कोर्ट ने वर्ष 2021 में आरोपी को एक महीने की अंतिम जमानत दी थी। लेकिन उसने एक महीने बाद जेल में आत्मसमर्पण नहीं किया था और फरार हो गया था। इस मामले में कोर्ट ने इसे 16 अक्तूबर, 2021 को भगोड़ा घोषित कर दिया था। मामले की जांच द्वारका(साउथ) से दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा को सौंप दी गई थी। जमानत मिलने के बाद वह हैदराबाद फरार हो गया था।

किशनगढ़ थानाध्यक्ष बिनोद कुमार की देखरेख में हवलदार योगेश कुमार व हवलदार विनोद कुमार की टीम उसकी तलाश कर रही थी। केस फाइल में उसकी ईको स्पोर्टस कार का नंबर था।

हवलदार विनोद कुमार ने दिल्ली ट्रैफिक पुलिस से पता किया कि हाल ही में इस कार का दिल्ली में चालान हुआ है। ट्रैफिक पुलिस ने अपने रिकार्ड को खंगाला तो पता लगा कि आरोपी की कार का दिल्ली में रेड लाइट जंपिंग का चालान हुआ है। इससे पुलिस टीम को ये पता लग गया कि आरोपी हैदराबाद से दिल्ली में वापस आ गया है। इसके बाद पुलिस को उसके आधार कार्ड पर दिए गए पत्ते से उसका नया मोबाइल नंबर मिल गया। केस फाइल में इसका आधार कार्ड लगा हुआ था।

पुलिस टीम ने छोले-कुलचे बेचे
हवलदार विनोद कुमार व योगेश कुमार की टीम ने वैभव खंड के सामने दो दिन तक छोले-कुलचे बेचे और कार पर नजर रखना शुरू किया। चार अप्रैल को ईको स्पोर्टस कार वैभव खंड में घुसती दिखाई दी। कार को आरोपी का ड्राइवर चला रहा था। पुलिस टीम ड्राइवर के जरिए आरोपी तक पहुंच गई और उसे गिरफ्तार कर लिया।

विस्तार

दुष्कर्म के फरार आरोपी को दिल्ली में लाल बत्ती तोड़ना भारी पड़ गया। इसके चालान के जरिए पुलिस आरोपी तक पहुंच गई। पुलिस को चालान से आरोपी की दिल्ली की लोकेशन मिल गई थी और ये पता लग गया कि आरोपी दिल्ली में वापस आ गया है। उसके आधार कार्ड से उसका मोबाइल नंबर मिला। चालान व मोबाइल के जरिए पुलिस ने उसे बुधवार को गिरफ्तार कर लिया। 

पता चला कि कोर्ट ने आरोपी को भगोड़ा घोषित कर रखा था। 251 रुपये में मोबाइल खरीदने के मामले में आरोपी के साढू ने 700 करोड़ रुपये का घोटाला किया था। आरोपी की पहचान बिंडसर अपार्टमेंट, वैभव खंड, इंदिरापुरम गाजियाबाद निवासी विकास कुमार मित्तल(45) के रूप में हुई है।

दक्षिण-पश्चिमी जिला पुलिस अधिकारियों के अनुसार,  आरोपी का वर्ष 2020 में ईवेंट मैनेजमेंट का व्यवसाय था। उसने अपने ऑफिस में काम करने वाली युवती के साथ ऑफिस में दुष्कर्म किया था। उसने युवती को कोल्ड ड्रिंक में नशीला पदार्थ पिला दिया था। द्वारका(साउथ) थाना पुलिस ने दुष्कर्म का मामला दर्ज कर विकास कुमार मित्तल को गिरफ्तार किया था। 

कोर्ट ने वर्ष 2021 में आरोपी को एक महीने की अंतिम जमानत दी थी। लेकिन उसने एक महीने बाद जेल में आत्मसमर्पण नहीं किया था और फरार हो गया था। इस मामले में कोर्ट ने इसे 16 अक्तूबर, 2021 को भगोड़ा घोषित कर दिया था। मामले की जांच द्वारका(साउथ) से दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा को सौंप दी गई थी। जमानत मिलने के बाद वह हैदराबाद फरार हो गया था।

किशनगढ़ थानाध्यक्ष बिनोद कुमार की देखरेख में हवलदार योगेश कुमार व हवलदार विनोद कुमार की टीम उसकी तलाश कर रही थी। केस फाइल में उसकी ईको स्पोर्टस कार का नंबर था।

हवलदार विनोद कुमार ने दिल्ली ट्रैफिक पुलिस से पता किया कि हाल ही में इस कार का दिल्ली में चालान हुआ है। ट्रैफिक पुलिस ने अपने रिकार्ड को खंगाला तो पता लगा कि आरोपी की कार का दिल्ली में रेड लाइट जंपिंग का चालान हुआ है। इससे पुलिस टीम को ये पता लग गया कि आरोपी हैदराबाद से दिल्ली में वापस आ गया है। इसके बाद पुलिस को उसके आधार कार्ड पर दिए गए पत्ते से उसका नया मोबाइल नंबर मिल गया। केस फाइल में इसका आधार कार्ड लगा हुआ था।

पुलिस टीम ने छोले-कुलचे बेचे

हवलदार विनोद कुमार व योगेश कुमार की टीम ने वैभव खंड के सामने दो दिन तक छोले-कुलचे बेचे और कार पर नजर रखना शुरू किया। चार अप्रैल को ईको स्पोर्टस कार वैभव खंड में घुसती दिखाई दी। कार को आरोपी का ड्राइवर चला रहा था। पुलिस टीम ड्राइवर के जरिए आरोपी तक पहुंच गई और उसे गिरफ्तार कर लिया।



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