Safdarjung Hospital : पांच डॉक्टरों को ड्यूटी से हटाया, दिल्ली महिला आयोग ने भेजा नोटिस


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सफदरजंग अस्पताल में एक महिला के लेबर रूम के बाहर प्रसव के मामले में पांच डॉक्टरों को ड्यूटी से हटा दिया गया है। समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार द्वारा मामले के तूल पकड़ने के बाद बैकफुट पर आए अस्पताल प्रशासन ने यह कदम उठाया है। उधर, दिल्ली महिला आयोग ने इस मामले का संज्ञान लेते हुए अस्पताल को नेटिस भेजा है। इस मामले में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने भी अस्पताल से रिपोर्ट तलब की है। 

दिल्ली महिला आयोग ने सफदरजंग अस्पताल के बाहर एक महिला के प्रसव के वीडियो पर संज्ञान लिया है। आयोग ने इस मामले में अस्पताल को नोटिस जारी किया है और कथित तौर पर महिला को भर्ती न करने पर जवाब मांगा है। अस्पताल को 25 जुलाई को रिपोर्ट देने का निर्देश दिया है।

आयोग ने सफदरजंग अस्पताल से इस घटना के संबंध में एक विस्तृत जांच रिपोर्ट मांगी है। आयोग ने अस्पताल से महिला की हालत गंभीर होने के बावजूद भी उसे भर्ती नहीं करने के बारे में भी कारण पूछा है। आयोग ने इस लापरवाही के लिए जिम्मेदार कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई का विवरण भी मांगा है। इसके अलावा आयोग ने यह भी पूछा है कि अस्पताल के किसी कर्मचारी या डाक्टर ने महिला की प्रसव में मदद की या नहीं। साथ ही आयोग ने आपातकालीन मामलों में अस्पताल की ओर से अपनाए जाने वाले प्रोटोकॉल के संबंध में भी जानकारी मांगी है।

आयोग ने कहा कि सफदरजंग अस्पताल के परिसर में महिला की पीड़ा को दिखाता हुआ एक वीडियो प्राप्त हुआ है। इस वीडियो में गर्भवती महिला को महिलाओं से घिरा देखा जा सकता है जो प्रसव में उसकी सहायता कर रही हैं। साथ ही वीडियो में एक महिला को सुना जा सकता है जो अस्पताल पर भर्ती न करने का आरोप लगा रही है। उसके अनुसार गर्भवती महिला पूरी रात अस्पताल के बाहर बैठी रही, परंतु अस्पताल ने न ही दाखिला दिया और न डाक्टरों ने कोई मदद की।

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सफदरजंग अस्पताल में एक महिला के लेबर रूम के बाहर प्रसव के मामले में पांच डॉक्टरों को ड्यूटी से हटा दिया गया है। समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार द्वारा मामले के तूल पकड़ने के बाद बैकफुट पर आए अस्पताल प्रशासन ने यह कदम उठाया है। उधर, दिल्ली महिला आयोग ने इस मामले का संज्ञान लेते हुए अस्पताल को नेटिस भेजा है। इस मामले में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने भी अस्पताल से रिपोर्ट तलब की है। 

दिल्ली महिला आयोग ने सफदरजंग अस्पताल के बाहर एक महिला के प्रसव के वीडियो पर संज्ञान लिया है। आयोग ने इस मामले में अस्पताल को नोटिस जारी किया है और कथित तौर पर महिला को भर्ती न करने पर जवाब मांगा है। अस्पताल को 25 जुलाई को रिपोर्ट देने का निर्देश दिया है।

आयोग ने सफदरजंग अस्पताल से इस घटना के संबंध में एक विस्तृत जांच रिपोर्ट मांगी है। आयोग ने अस्पताल से महिला की हालत गंभीर होने के बावजूद भी उसे भर्ती नहीं करने के बारे में भी कारण पूछा है। आयोग ने इस लापरवाही के लिए जिम्मेदार कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई का विवरण भी मांगा है। इसके अलावा आयोग ने यह भी पूछा है कि अस्पताल के किसी कर्मचारी या डाक्टर ने महिला की प्रसव में मदद की या नहीं। साथ ही आयोग ने आपातकालीन मामलों में अस्पताल की ओर से अपनाए जाने वाले प्रोटोकॉल के संबंध में भी जानकारी मांगी है।

आयोग ने कहा कि सफदरजंग अस्पताल के परिसर में महिला की पीड़ा को दिखाता हुआ एक वीडियो प्राप्त हुआ है। इस वीडियो में गर्भवती महिला को महिलाओं से घिरा देखा जा सकता है जो प्रसव में उसकी सहायता कर रही हैं। साथ ही वीडियो में एक महिला को सुना जा सकता है जो अस्पताल पर भर्ती न करने का आरोप लगा रही है। उसके अनुसार गर्भवती महिला पूरी रात अस्पताल के बाहर बैठी रही, परंतु अस्पताल ने न ही दाखिला दिया और न डाक्टरों ने कोई मदद की।



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