India Pakistan Talk : पाकिस्तान ने पिछले दरवाजे से भारत से शुरू की वार्ता, अधिकारियों के हवाले से पाकिस्तानी अखबार का दावा


सार

अधिकारी ने कहा, इसे पिछला दरवाजा कहें, ट्रैक-टू कहें या पर्दे के पीछे की बातचीत कहें लेकिन मैं सिर्फ इतना कह सकता हूं कि दोनों देशों के संबंधित लोग संपर्क में हैं।

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देश में राजनीतिक उठापठक और खराब होती आर्थिक स्थिति के बीच पाकिस्तान को भारत के साथ रिश्ते सुधारने की जरूरत महसूस होने लगी है। पाकिस्तानी अखबार एक्सप्रेस ट्रिब्यून ने दावा किया है कि रिश्ते सुधारने और गतिरोध खत्म करने के लिए पाकिस्तान भारत के साथ पिछले दरवाजे से बातचीत शुरू कर चुका है।

अखबार ने यह दावा बातचीत की प्रक्रिया से जुड़े अधिकारियों के हवाले से किया है। 2019 में जम्मू-कश्मीर के विशेष राज्य के दर्जे को खत्म किए जाने के बाद से दोनों देशों के बीच राजनयिक स्तर की वार्ता प्रक्रिया बिलकुल ही बंद पड़ी है। उसके बाद से कूटनीति संबंध लगातार नीचे जा रहे हैं और द्विपक्षीय व्यापार बंद है। 

अखबार ने लिखा है कि तनाव के बावजूद दोनों देशों में बातचीत शुरू हुई है हालांकि यह गोपनीय रूप से ही है। इसकी शुरुआत शहबाज शरीफ की सरकार बनने से पहले ही हो गई थी। इस वार्ता के कारण फरवरी 2021 में सीमा पर युद्धविराम समझौते को आगे बढ़ाने में कामयाबी मिली है और इसके कारण युद्धविराम उल्लंघन की कोई बड़ी घटना नहीं हुई है।

एक अधिकारी ने बताया कि नई सरकार के आने के बाद दोनों ही देशों ने आगे की राह निकालने के लिए अपनी ओर से जोर लगाया है। अधिकारी ने कहा, इसे पिछला दरवाजा कहें, ट्रैक-टू कहें या पर्दे के पीछे की बातचीत कहें लेकिन मैं सिर्फ इतना कह सकता हूं कि दोनों देशों के संबंधित लोग संपर्क में हैं। 

संपर्क का परिणाम नहीं पता
हालांकि इस अधिकारी ने यह नहीं बताया कि इन संपर्कों का वास्तविक नतीजा कुछ निकला है या नहीं। उन्होंने कहा कि शायद पहले कुछ महत्वपूर्ण प्रगति हो जाए तब इस बारे में खुलासा किया जाएगा। अधिकारी ने यह भी कहा कि पाकिस्तान में राजनीतिक अस्थिरता के कारण तत्काल कोई बड़ी उपलब्धि हासिल होना शायद मुश्किल है। अखबार ने यह भी लिखा है कि भारत फिर संपर्क बहाल करने के लिए तो तैयार है लेकिन पाकिस्तान को वार्ता शुरू करने के लिए कुछ महत्वपूर्ण प्रस्ताव देने से हिचक रहा है।

पश्चिमी देश भी कर रहे तनाव घटाने की कोशिश
अखबार ने लिखा है कि अमेरिका और ब्रिटेन जैसे पश्चिमी देश भी भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव घटाने के लिए जोर लगा रही हैं। ये देश वार्ता शुरू करने के लिए कुछ औपचारिक राह खोलने की कोशिश में हैं।

पाकिस्तान को गेहूं देना चाहता है भारत
भारत, सरकारों के बीच समझौते के तहत पाकिस्तान को गेहूं की आपूर्ति करना चाहता है। पाकिस्तान अभी गेहूं की गंभीर कमी का सामना कर रहा है और रूस से 20 लाख टन गेहूं खरीदने का प्रयास कर रहा है।

भारत-पाकिस्तान में शुरू हुई सिंधु जल समझौते पर 118वीं दौर की वार्ता
भारत और पाकिस्तान के बीच सिंधु जल बंटवारे को लेकर सिंधु आयोग फ्रेमवर्क के तहत सोमवार को वार्ता शुरू हुई। बैठक मंगलवार को भी जारी रहेगी। पाकिस्तान का एक प्रतिनिधिमंडल सिंधु जल बंटवारे को लेकर 118वीं दौर की वार्ता के लिए रविवार को भारत आया है।

पाकिस्तानी उच्चायोग ने सोमवार की रात ट्वीट किया, पाकिस्तान-भारत स्थाई सिंधु आयोग की118वीं बैठक का पहला सत्र आज दिल्ली में हुआ। पाकिस्तानी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व सैयद मोहम्मद मेहर अली शाह कर रहे हैं। बातचीत का दूसरा सत्र मंगलवार को होगा।

भारत और पाकिस्तान के बीच 1960 में हुए सिंधु जल समझौते के तहत पूर्व की ओर की नदियों सतलुज, ब्यास और रावी का 33 मिलियन एकड़ फीट  पानी भारत को मिलता है जबकि पश्चिमी ओर की नदियों सिंधु, झेलम और चेनाब का 135 मिलियन एकड़ फीट पानी पाकिस्तान को मिलता है। सिंधु जल समझौते के तहत दोनों देशों को साल में कम से कम एक बार वार्ता करनी जरूरी है।

विस्तार

देश में राजनीतिक उठापठक और खराब होती आर्थिक स्थिति के बीच पाकिस्तान को भारत के साथ रिश्ते सुधारने की जरूरत महसूस होने लगी है। पाकिस्तानी अखबार एक्सप्रेस ट्रिब्यून ने दावा किया है कि रिश्ते सुधारने और गतिरोध खत्म करने के लिए पाकिस्तान भारत के साथ पिछले दरवाजे से बातचीत शुरू कर चुका है।

अखबार ने यह दावा बातचीत की प्रक्रिया से जुड़े अधिकारियों के हवाले से किया है। 2019 में जम्मू-कश्मीर के विशेष राज्य के दर्जे को खत्म किए जाने के बाद से दोनों देशों के बीच राजनयिक स्तर की वार्ता प्रक्रिया बिलकुल ही बंद पड़ी है। उसके बाद से कूटनीति संबंध लगातार नीचे जा रहे हैं और द्विपक्षीय व्यापार बंद है। 

अखबार ने लिखा है कि तनाव के बावजूद दोनों देशों में बातचीत शुरू हुई है हालांकि यह गोपनीय रूप से ही है। इसकी शुरुआत शहबाज शरीफ की सरकार बनने से पहले ही हो गई थी। इस वार्ता के कारण फरवरी 2021 में सीमा पर युद्धविराम समझौते को आगे बढ़ाने में कामयाबी मिली है और इसके कारण युद्धविराम उल्लंघन की कोई बड़ी घटना नहीं हुई है।

एक अधिकारी ने बताया कि नई सरकार के आने के बाद दोनों ही देशों ने आगे की राह निकालने के लिए अपनी ओर से जोर लगाया है। अधिकारी ने कहा, इसे पिछला दरवाजा कहें, ट्रैक-टू कहें या पर्दे के पीछे की बातचीत कहें लेकिन मैं सिर्फ इतना कह सकता हूं कि दोनों देशों के संबंधित लोग संपर्क में हैं। 

संपर्क का परिणाम नहीं पता

हालांकि इस अधिकारी ने यह नहीं बताया कि इन संपर्कों का वास्तविक नतीजा कुछ निकला है या नहीं। उन्होंने कहा कि शायद पहले कुछ महत्वपूर्ण प्रगति हो जाए तब इस बारे में खुलासा किया जाएगा। अधिकारी ने यह भी कहा कि पाकिस्तान में राजनीतिक अस्थिरता के कारण तत्काल कोई बड़ी उपलब्धि हासिल होना शायद मुश्किल है। अखबार ने यह भी लिखा है कि भारत फिर संपर्क बहाल करने के लिए तो तैयार है लेकिन पाकिस्तान को वार्ता शुरू करने के लिए कुछ महत्वपूर्ण प्रस्ताव देने से हिचक रहा है।

पश्चिमी देश भी कर रहे तनाव घटाने की कोशिश

अखबार ने लिखा है कि अमेरिका और ब्रिटेन जैसे पश्चिमी देश भी भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव घटाने के लिए जोर लगा रही हैं। ये देश वार्ता शुरू करने के लिए कुछ औपचारिक राह खोलने की कोशिश में हैं।

पाकिस्तान को गेहूं देना चाहता है भारत

भारत, सरकारों के बीच समझौते के तहत पाकिस्तान को गेहूं की आपूर्ति करना चाहता है। पाकिस्तान अभी गेहूं की गंभीर कमी का सामना कर रहा है और रूस से 20 लाख टन गेहूं खरीदने का प्रयास कर रहा है।

भारत-पाकिस्तान में शुरू हुई सिंधु जल समझौते पर 118वीं दौर की वार्ता

भारत और पाकिस्तान के बीच सिंधु जल बंटवारे को लेकर सिंधु आयोग फ्रेमवर्क के तहत सोमवार को वार्ता शुरू हुई। बैठक मंगलवार को भी जारी रहेगी। पाकिस्तान का एक प्रतिनिधिमंडल सिंधु जल बंटवारे को लेकर 118वीं दौर की वार्ता के लिए रविवार को भारत आया है।

पाकिस्तानी उच्चायोग ने सोमवार की रात ट्वीट किया, पाकिस्तान-भारत स्थाई सिंधु आयोग की118वीं बैठक का पहला सत्र आज दिल्ली में हुआ। पाकिस्तानी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व सैयद मोहम्मद मेहर अली शाह कर रहे हैं। बातचीत का दूसरा सत्र मंगलवार को होगा।

भारत और पाकिस्तान के बीच 1960 में हुए सिंधु जल समझौते के तहत पूर्व की ओर की नदियों सतलुज, ब्यास और रावी का 33 मिलियन एकड़ फीट  पानी भारत को मिलता है जबकि पश्चिमी ओर की नदियों सिंधु, झेलम और चेनाब का 135 मिलियन एकड़ फीट पानी पाकिस्तान को मिलता है। सिंधु जल समझौते के तहत दोनों देशों को साल में कम से कम एक बार वार्ता करनी जरूरी है।



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