PF New Rules: नौकरीपेशा लोगों के लिए बड़ी खबर, अब पीएफ खाते पर भी लगेगा टैक्स, जानिए आप पर क्या होगा असर


अगर आप नौकरीपेशा हैं और कर्मचारी भविष्य निधि संगठन यानी ईपीएफओ में खाता है तो ये आपके लिए बेहद जरूरी खबर है। नौकरीपेशा लोगों के लिए प्रोविडेंट फंड का पैसा उनकी जिंदगी भर की कमाई होती है। जब तक आप नौकरी में रहते हैं, तब तक हर महीने आपके वेतन का कुछ हिस्सा प्रोविडेंट फंड में जमा होता है और जब आप रिटायर होते हैं तो एक अच्छी खासी रकम आपके पास होती है। इन्हीं पैसों के दम पर आप अपना बुढ़ापा आराम से गुजार सकते हैं। लेकिन समय-समय पर ईपीएफ के नियमों कुछ बदलाव होते रहते हैं, जिन्हें जानना आपके लिए बेहद जरूरी होता है। अब पीएफ खाते नियमों में कुछ नए बदलाव होने वाले हैं। दरअसल, 1 अप्रैल 2022 से मौजूदा पीएफ अकाउंट को दो भागों में बांटा जा सकता है, जिसपर टैक्स भी लगेगा। आइए जानते हैं क्या है नया नियम और इसका आप पर क्या असर होगा…  

इन पीएफ खातों पर लगेगा टैक्स

  • सरकार ने अब पीएफ में जमा रकम पर मिलने वाले ब्याज पर टैक्स लगाने का फैसला किया है। पिछले साल सितंबर में सरकार ने नए इनकम टैक्स नियमों को नोटिफाई किया था, जिसके तहत अब पीएफ अकाउंट्स को दो हिस्सों में बांटा जाएगा। अगर हर महीने जमा होने वाला आपका पीएफ साल भर में  2.5 लाख रुपये से ज्यादा हो जाता है, तो अब उस पर मिलने वाला ब्याज इनकम टैक्स के दायरे में आएगा। 
इन टैक्सपेयर्स को फर्क नहीं पड़ेगा

  • नए नियम से छोटे और मध्यम वर्ग के टैक्सपेयर्स को कोई फर्क नहीं पड़ेगा। ये मुख्य रूप से हाई इनकम वाले कर्मचारियों को प्रभावित करेगा। यानी अगर आपकी सैलरी कम है या एवरेज है तो आपको इस नए नियम से कोई फर्क नहीं पड़ेगा।  
नए पीएफ नियमों के खास बातें

  • मौजूदा पीएफ खाते को दो हिस्सों यानी टैक्सेबल और नॉन-टैक्सेबल कॉन्ट्रिब्यूशन अकाउंट्स में बंट जाएंगे। सीबीडीटी के मुताबिक नॉन-टैक्सेबल खाते में उनका क्लोजिंग अकाउंट भी शामिल होगा, क्योंकि इसकी तारीख 31 मार्च, 2021 होती है। 
  • नए पीएफ नियम 1 अप्रैल, 2022 से लागू हो सकते हैं। टैक्सेबल ब्याज गणना के लिए मौजूदा पीएफ अकाउंट में दो अलग-अलग अकाउंट भी बनाए जाएंगे।  सालाना 2.5 लाख रुपये से ज्यादा के एंप्लाई कॉन्ट्रिब्यूशन से पीएफ इनकम पर नया टैक्स लागू होगा। 



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