Crypto Crisis: एक और क्रिप्‍टो एक्‍सचेंज ने ट्रांजैक्‍शन पर लगाई रोक, निवेशकों का पैसा फंसा


हाइलाइट्स

क्रिप्‍टोकरेंसी मार्केट में पिछले कुछ महीनों में भारी गिरावट आई है.
बिटकॉइन सहित सभी क्रिप्‍टो कॉइन मंदी की मार झेल रहे हैं.
मई 2022 में टेरा लूना में भारी गिरावट के साथ ही क्रिप्‍टोकरेंसी के बुरे दिन शुरू हुए थे.

नई दिल्‍ली. क्रिप्‍टोकरेंसी बाजार में पिछले कुछ महीनों से जार गिरावट अब क्रिप्‍टो निवेशकों और क्रिप्‍टो एक्‍सचेंजों पर भारी पड़ने लगी है. क्रिप्‍टो बाजार में छाई मंदी की मार से बेहाल अब एक और क्रिप्‍टो एक्‍सचेंज ने अपने प्‍लेटफॉर्म पर क्रिप्‍टोकरेंसी के लेनदेन पर रोक लगा दी है. एक्‍सचेंज के इस कदम से क्रिप्‍टो निवेशक अपनी क्रिप्‍टोकरेंसी को विड्राल नहीं कर पा रहे हैं.

सिंगापुर, थाइलैंड, इंडोनेशिया और ऑस्‍ट्रेलिया में अपनी सेवाएं देने वाले क्रिप्‍टो एक्‍सचेंज जिपमेक्‍स (Zipmex) ने अपने प्‍लेटफॉर्म पर लेनदेन स्‍थगित कर दिया है. कंपनी ने एक ट्वीट में ट्रांजैक्‍शन रोकने की जानकारी देते हुए बताया कि क्रिप्‍टो मार्केट में अस्थिरता और व्‍यापार भागीदारों के घोर वित्‍तीय संकट में घिर जाने के कारण जिपमेक्‍स ने विड्राल सस्‍पेंड करने का निर्णय लिया है.

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मई से शुरू हुआ संकट
जेपमेक्‍स के थाइलैंड सीईओ अकलर्प यिमविलाई एक ऑनलाइन लाइवस्‍ट्रीम में कहा कि सिंगापुर बेस्‍ड  कंपनी में समस्‍याएं बबैल फाइनेंस और सेल्सियस नेटवर्क जैसे स्‍थानीय सहयोगियों के सामने तरलता संकट पैदा होने के कारण पैदा हुई हैं. क्रिप्‍टोकरेंसी मार्केट में संकट मई 2022 में शुरू हुआ था. क्रिप्‍टोकॉइन टेरा लूना के बुरी तरह लुढ़कने के बाद क्रिप्‍टो बाजार में भारी मंदी आई और छोटे-बड़े सभी कॉइन इसकी चपेट में आ गए. क्रिप्‍टो मार्केट में भारी बिकवाली का असर क्रिप्‍टो एक्‍सचेंजों पर भी पड़ा.

पहले भी दो एक्‍सचेंज रोक चुके हैं लेनदेन
जेपमेक्‍स से पहले भी Celsius और Vauld नामक दो क्रिप्‍टो एक्‍सचेंज अपने प्‍लेटफॉर्म पर पहले ही क्रिप्‍टो लेनदेन रोक चुके हैं. क्रिप्‍टोकरेंसी लेंडर फर्म सेल्सियस नेटवर्क (Celsius Network) ने यूजर अकाउंट्स से क्रिप्‍टो की निकासी और उन्‍हें दूसरे अकाउंट में ट्रांसफर करने पर 12 जून को रोक लगा दी थी. पिछले साल ही सेल्सियस नेटवर्क ने $750 मिलियन की फंडिंग हासिल की थी. क्रिप्‍टो लेंडिंग की यह एक प्रमुख फर्म है. कंपनी कस्‍टमर्स से क्रिप्‍टो उधार लेती है और फिर उन्‍हें आगे फिर उधार देती है. जो ग्राहक कंपनी के पास अपनी क्रिप्‍टोकरेंसी रखते हैं, उन्‍हें कंपनी अच्‍छा रिटर्न देती है.

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इसी तरह सिंगापुर स्थित मुख्यालय वाला क्रिप्टो एक्सचेंज और भारतीय स्टार्टअप वाल्ड ( Vauld) ने 4 जुलाई 2022 को अपने प्लेटफॉर्म पर सभी प्रकार की जमा-निकासी के साथ ट्रेडिंग एक्टिविटी को रोक दिया था. वाल्ड ने कहा कि क्रिप्टो में भारी गिरावट और भारत में नियमों के कड़े होने से ट्रेडिंग वैल्यूम पर काफी असर पड़ा है. कंपनी के सामने वित्तीय मुश्किलें खड़ी हो गई हैं. लिहाजा इस वजह से इस क्रिप्टो एक्सचेंज ने फिलहाल सभी गतिविधियां रोक दी हैं.

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