KGF 1 VS KGF 2: कौन किस पर है भारी? जानिए कहानी, किरदार, अभिनय और गाने में किस चैप्टर ने मारी बाजी


यश की केजीएफ फ्रेंचाइजी बॉक्स ऑफिस पर सबसे सफल फिल्म साबित हो सकती है। ‘केजीएफ: चैप्टर 2’ ने रिलीज के पहले ही दिन पूरे देश में शानदार कारोबार कर लिया है। बॉलीवुड के जाने-माने चेहरे जैसे संजय दत्त और रवीना टंडन की वजह से फिल्म की उत्तर भारतीय बाजारों में अधिक अपील है। बॉक्स ऑफिस के शुरुआती आंकड़ों को देखते हुए यह कहना गलत नहीं होगा कि केजीएफ का दूसरा भाग, पहले भाग के बॉक्स ऑफिस कलेक्शन को भारी अंतर से चकनाचूर करने वाला है। लेकिन क्या पार्ट-2 पहले पार्ट से बेहतर है? यहां पढ़िए हमारी रिपोर्ट…

इन जगहों पर केजीएफ: पार्ट 2 ने मारी बाजी

– कहानी की बात करें तो ‘केजीएफ: पार्ट 2’ के स्टोरी कहना का तरीका पहले भाग से कहीं ज्यादा बेहतर है। केजीएफ 2 में हम रॉकी के अतीत में गहराई से उतरते हैं। केजीएफ: पार्ट 1 की तुलना में पार्ट 2 में किरदारों का बाहुबल और भावनात्मक जुड़ाव अधिक है। 

— केजीएफ: चैप्टर 1 को 80 करोड़ तो केजीएफ: चैप्टर 2 को 150 करोड़ रुपये के बजट में तैयार किया गया है। शायद यही कारण है कि केजीएफ: चैप्टर 2 में बेहतर वीएफएक्स का इस्तेमाल किया गया है। इसके साथ ही KGF माइंस के वाइड शॉट्स में, पोस्ट-प्रोडक्शन के दौरान की गई चालाकी वास्तव में दिखाई देती है।.

– चैप्टर 2 के डायलॉग पहले पार्ट की तुलना में कहीं बेहतर हैं। तेज-तर्रार और आकर्षक रॉकी केजीएफ:चैप्टर 1 के इंटरवल के बाद लगभग शांत पड़ गया था। वहीं केजीएफ:चैप्टर 2 में पुराना रॉकी सीटी मार परफॉर्मेंस और भारी संवादों के साथ वापस लौट आता है।

– कार का पीछा करने वाला दृश्य और अधीरा (संजय दत्त) व रॉकी के बीच हुई लड़ाई, पुलिस स्टेशन पर रॉकी का हमला और अधीरा पर कलाशनिकोव का इस्तेमाल स्पष्टरूप से स्टैंडआउट हैं।

– स्टाइलिंग और कॉस्ट्यूम के मामले में चैप्टर 2 कहीं बेहतर है। फिट सूट और सिल्क शर्ट में यश हैंडसम लग रहे हैं। श्रीनिधि शेट्टी का साड़ी लुक भी प्रभावशाली है। स्टाइल के लिहाज से सबसे बड़ी हाइलाइट अधीरा है, जिसे संजय दत्त ने निभाया है। उनका वाइकिंग से प्रेरित लुक खतरनाक है।

केजीएफ:चैप्टर 2 में इन जगहों पर चूके प्रशांत

– भले ही अधीरा को विलेन के रूप में बहुत प्रचारित किया गया था, लेकिन वह रॉकी भाई के सामने फीके पड़ गए। हालांकि अधीरा के लुक पर बहुत काम किया गया था और उसकी क्रूरता की वजह को भी बेहतरीन ढंग से दिखाया गया था, लेकिन कुछ हिस्सों में अधीरा कमजोर दिखाई पड़े। वहीं चैप्टर 1 का विलेन ‘गरुड़’, रॉकी की वीरता से मेल खाता दिखा और पूरे फिल्म में मौजूद था।

– चैप्टर 2 में रीना (श्रीनिधि शेट्टी) और रॉकी की कहानी के साथ न्याय नहीं किया गया। चैप्टर 2 में जहां रीना एक मूक दर्शक की तरह दिखाईं दीं, वहीं चैप्टर 1 में दोनों के बीच काफी अच्छी केमिस्ट्री नजर आई थी।

– चैप्टर 2 के सेकेंड हाफ में दो गाने- ‘फलक तू गराज तू’ और ‘महबूबा’ हैं। दोनों गाने फिल्म की कहानी के साथ मेल खाते हुए नजर नहीं आए। हालांकि चैप्टर 1 में ऐसा मेहसूस नहीं हुआ था। केजीएफ: चैप्टर 1 के गाने लोगों की जुबान पर चढ़ गए थे, लेकिन केजीएफ:चैप्टर 2 के गाने वो कमाल नहीं दिखा पाए।



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