U19 WC दिलाने वाला भारतीय कोच पाकिस्तान की धुनाई कर बना था रातों रात स्‍टार, जानें कौन है ऋषिकेश कानिटकर


नई दिल्‍ली. भारत ने इंग्‍लैंड (India vs England) को 4 विकेट से हराकर 5वीं बार अंडर 19 वर्ल्‍ड कप (Under 19 World Cup) का खिताब जीत लिया. दिनेश बावा (Dinesh Bava) के बल्‍ले से विजयी छक्‍का निकला. बावा ने लगातार 2 छक्‍के जड़कर इंग्‍लैंड की उम्‍मीदों पर पानी फेर दिया. कुछ ऐसा ही सालों पहले इस विश्‍व विजेता टीम के कोच ऋषिकेश कानिटकर (Hrishikesh Kanitkar) ने भी किया था. काफी क्रिकेट प्रेमी शायद इस नाम को भूल गए होंगे, मगर कानिटकर वहीं हैं, जो पाकिस्‍तान की धुनाई करके रातों रात स्‍टार बन गए थे. जिनके एक शॉट ने पाकिस्‍तान का सपना तोड़ दिया था.

बात 18 जनवरी 1998 की है. कानिटकर अपने करियर का तीसरा वनडे मैच ही खेल रहे थे. यह भारत और पाकिस्‍तान के बीच इंडिपेंडेंस कप का खिताबी मुकाबला था. 48 ओवर में 315 रन के लक्ष्‍य का पीछा करते हुए भारत को आखिरी की 2 गेंदों में 3 रन की जरूरत थी. कानिटकर उस समय स्‍ट्राइक पर मौजूद थे. अनुभवी गेंदबाज सकलैन मुश्‍ताक आखिरी ओवर फेंकने आए. जिस वजह से भारत को जीत असंभव लगने लगी थी.

पाकिस्‍तान की एक गेंद पर धुनाई
7वें नंबर पर बल्‍लेबाजी करने आए कानिकटर ने मुश्‍ताक के ओवर की 5वीं गेंद पर विजयी बाउंड्री के लिए मिडविकेट पर चौका लगा दिया. उस विजयी चौके को जड़ने के साथ ही कानिटकर रातों रात स्‍टार बन गए. उस समय दूसरे छोर पर जवागल श्रीनाथ मौजूद थे. कानिटकर इस मैच में 11 रन पर नाबाद रहे, मगर उन्‍होंने मैच की 5वीं गेंद पर पाकिस्‍तानी गेंदबाज की जो धुनाई की थी, उससे वो स्‍टार बन गए. कानिटकर ने 1997 में वनडे मैच से इंटरनेशनल क्रिकेट में डेब्‍यू किया था. उन्‍होंने 2 टेस्‍ट और 34 वनडे मैचों भारत का प्रतिनिधित्‍व किया. उन्‍हें मुश्‍ताक की आखिरी गेंद पर चौका जड़कर भारत को खिताब दिलाने के लिए सबसे ज्‍यादा याद किया जाता है.

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पिता क्रिकेटर, भाई गोल्‍फर और भाभी टेनिस खिलाड़ी
कानिटकर खेल परिवार से ताल्‍लुक रखते हैं. उनके पिता हेमंत भारत और महाराष्‍ट्र के लिए क्रिकेट खेल चुके हैं. उनके भाई आदित्‍य गोल्‍फ खेलते थे, जबकि भाभी राधिका तुलपुले टेनिस खिलाड़ी रह चुकी हैं. कानिटकर और उनके पिता दोनों ने सिर्फ 2 ही टेस्‍ट मैच में भारत का प्रतिनिधित्‍व किया.

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उन्‍होंने 1994 में महाराष्‍ट्र के लिए रणजी ट्रॉफी में डेब्‍यू किया था. महाराष्‍ट्र के लिए 14 सीजन खेलने के बाद वो 2008 में पेशेवर बन गए है और मध्‍य प्रदेश की टीम से जुड़ गए. 2 सीजन के बाद वो राजस्‍थान से जुड़े और अपनी कप्‍तानी में राजस्‍थान को 2010- 2011 और 2011- 2012 में रणजी ट्रॉफी चैंपियन बनाया. उनके नाम 146 फर्स्‍ट क्‍लास मैचों में 10 हजार 400 रन है. वहीं 74 विकेट भी है.

Tags: Hrishikesh Kanitkar, India under 19, Under 19 World Cup

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