पटना. बिहार में भी अब यूपी की तरह उद्योग-धंधे (Industry In Bihar) लगने की शुरुआत हो गई है. बिहार में भी अब बेंगलुरु, नोएडा और गाजियाबाद की तर्ज पर उद्योग घंधे लगने की शुरुआत हो गई है. बिहार के उद्योग मंत्री शाहनवाज हुसैन (Shahnawaz Hussain) की पहल के बाद बीते रविवार को ही बिहार में देश का पहला ग्रीनफील्ड ग्रेन बेस्ड इथेनॉल प्लांट (Ethanol Plant) काम करना शुरू कर दिया है. इससे पहले कुछ दिन पहले ही बेगूसराय में पेप्सी का प्लांट काम करना शुरू किया था. यह प्लांट बिहार का पहला वाटर बोटलिंग प्लांट है. बिहार सरकार का दावा है कि राज्य में पहले ग्रीनफील्ड ग्रेन बेस्ड इथेनॉल प्लांट की शुरुआत होने से सीमांचल क्षेत्र के अररिया, पूर्णिया, कटिहार और किशनगंज में विकास की गति और तेज होगी. इस इथेनॉल प्लांट की शुरुआत नए उद्योगों और रोजगार सृजन के नजरिए से बड़ा कदम साबित हो सकता है.
बता दें कि केंद्र और राज्य की इथेनॉल पॉलिसी 2021 के बाद देश के पहले ग्रीनफील्ड ग्रेन बेस्ड इथेनॉल प्लांट की शुरुआत बिहार के पूर्णियां से हुई है. इसके बाद तीन और बिहार में इथेनॉल प्लांट अगले कुछ महीने में काम करना शूरू कर देगी. पूर्णियां के गणेशपुर में ईस्टर्न इंडिया बायोफ्यूल्स प्रा. लि. (EIBPL) द्वारा स्थापित यह ग्रीनफील्ड ग्रेन बेस्ड इथेनॉल प्लांट के बनने में 96.76 करोड़ की लागत लगी है. इस प्लांट की उत्पादन क्षमता 65 हजार लीटर प्रतिदिन है.
केंद्र और राज्य की इथेनॉल पॉलिसी 2021 के बाद देश के पहले ग्रीनफील्ड ग्रेन बेस्ड इथेनॉल प्लांट की शुरुआत बिहार के पूर्णियां से हुई है.
बिहार हब बनेगा इथेनॉल इंडस्ट्री का
इस प्लांट में मक्का और ब्रोकेन राइस से इथेनॉल का उत्पादन शुरू हो गया है. इसके शुरू होने से रोजगार के भी कई अवसर मिलेंगे. जिला उद्योग केंद्र के मुताबिक, इसके शुरू होने से मक्का एवं धान किसानों का काफी लाभ होगा. साथ ही रोजगार के कई अवसर मिलेंगे. सीमांचल के हजारों हेक्टेयर में मक्के की खेती होती है. खासकर पूर्णियां, कटिहार, किशनगंज और अररिया के दो हजार से भी ज्यादा हेक्टेयर जमीन पर खेती करने वाले किसानों का फायदा होगा.
17 इथेनॉल प्लांट लगाए जा रहे हैं
गौरतलब है कि बिहार इथेनॉल उत्पादन प्रोत्साहन नीति 2021 के अंतर्गत बिहार में पहले चरण में 17 इथेनॉल उत्पादन ईकाइयां स्थापित की जा रही हैं चार ईथेनॉल ईकाइयां बनकर तैयार हो गई हैं. इसके अलावा 3 और यूनिट जो बनकर तैयार हैं, इनमें से दो गोपालगंज में और एक आरा में हैं.
पूर्णियां में स्थापित प्लांट की जरूरत को पूरा करने के लिए प्रतिदिन करीब 150 टन चावल या मक्के की जरूरत होगी.
बिहार सरकार ने शुरू की है ये पहल
उद्योग मंत्री के मुताबिक, ‘पूर्णियां में स्थापित प्लांट की जरूरत को पूरा करने के लिए प्रतिदिन करीब 150 टन चावल या मक्के की जरूरत होगी. इथेनॉल प्लांट के लिए की जाने वाली इस खरीद से बिहार के किसानों को फायदा मिलेगा. 15 एकड़ क्षेत्र में बने ईस्टर्न इंडिया बायोफ्यूल्स प्रा. लि. (EIBPL) के इथेनॉल प्लांट की खूबी ये है कि इसमें ईंधन और भाप (Steam) की जरूरत को पूरी करने के लिए चावल की भूसी का इस्तेमाल किया जाएगा. इस लिहाज से करीब 130 टन चावल की भूसी की खपत इस प्लांट में रोजाना होगी.
पीएम मोदी का सपना होगा साकार
शाहनवाज हुसैन ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आत्मनिर्भर भारत का सपना और किसानों की आमदनी बढ़ाने का सपना इससे पूरा होगा. वर्ष 2021 में लाई गई बिहार की इथेनॉल उत्पादन प्रोत्साहन नीति के तहत बिहार में 151 इथेनॉल ईकाइयों की स्थापना के लिए कुल 30,382 करोड़ रुपए के निवेश प्रस्ताव आए थे, लेकिन कोटा कम मिलने से फिलहाल 17 इथेनॉल ईकाइयों की स्थापना पहले चरण में हो रही है.
17 इथेनॉल ईकाइयों की स्थापना पहले चरण में हो रही है.
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कुलमिलाकर बिहार देश का इथेनॉल हब बनने की राह पर तेजी से आगे बढ़ने लगा है. पूर्णिया प्लांट में तैयार इथेनॉल की सप्लाई इंडियन ऑयल, भारत पेट्रोलियम और हिन्दुस्तान पेट्रोलियम जैसी कंपनियों को किया जाएगा. इसके लिए कंपनियों से 10 साल का करार किया गया है. बिहार को वर्तमान में 36 करोड़ लीटर सालाना इथेनॉल आपूर्ति का कोटा मिला है.
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Tags: Bihar News, CM Nitish Kumar, Ethanol, PM Modi, Purnia news, Shahnawaz hussain
FIRST PUBLISHED : May 01, 2022, 18:20 IST