Monkeypox: केरल में मिला मंकीपॉक्स का संदिग्ध केस, विदेश में संक्रमित के संपर्क में आया यह शख्स


सार

राज्य की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने कहा कि मंकीपॉक्स के संदिग्ध मरीज को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। विदेश से लौटने के बाद इस व्यक्ति में लक्षण दिखाई दिए थे।

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केरल में विदेश से आया एक शख्स मंकीपॉक्स से संदिग्ध रूप से संक्रमित पाया गया है। उसका सैंपल जांच के लिए भेजा गया है। पुष्टि होने के बाद ही उसे मंकीपॉक्स संक्रमित माना जाएगा। 
राज्य की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने गुरुवार को यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि मंकीपॉक्स के संदिग्ध मरीज को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। विदेश से लौटने के बाद इस व्यक्ति में मंकीपॉक्स के लक्षण दिखाई दिए थे। रक्त के सैंपल को परीक्षण के लिए नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी भेजा है। जांच रिपोर्ट आने के बाद ही इस बीमारी की पुष्टि हो सकती है। मंत्री जॉर्ज ने मरीज के बारे में ज्यादा जानकारी दिए बगैर कहा कि उस व्यक्ति में मंकीपॉक्स के लक्षण थे और वह विदेश में एक मंकीपॉक्स रोगी के निकट संपर्क में था। 
पशुओं से इंसानों में फैलता है वायरस
विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के अनुसार, मंकीपॉक्स एक वायरल जूनोसिस (पशुओं से इंसान में फैलने वाला वायरस) है। इसमें पूर्व में चेचक के रोगियों में देखे गए लक्षणों के समान लक्षण होते हैं।हालांकि, इलाज की दृष्टि से यह कम गंभीर है। 1980 में चेचक के खात्मे और उन्मूलन और उसके बाद इसके टीकाकरण की समाप्ति के बाद मंकीपॉक्स बड़ा ऑर्थोपॉक्सवायरस के रूप में उभरा है। 
 

विस्तार

केरल में विदेश से आया एक शख्स मंकीपॉक्स से संदिग्ध रूप से संक्रमित पाया गया है। उसका सैंपल जांच के लिए भेजा गया है। पुष्टि होने के बाद ही उसे मंकीपॉक्स संक्रमित माना जाएगा। 

राज्य की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने गुरुवार को यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि मंकीपॉक्स के संदिग्ध मरीज को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। विदेश से लौटने के बाद इस व्यक्ति में मंकीपॉक्स के लक्षण दिखाई दिए थे। रक्त के सैंपल को परीक्षण के लिए नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी भेजा है। जांच रिपोर्ट आने के बाद ही इस बीमारी की पुष्टि हो सकती है। मंत्री जॉर्ज ने मरीज के बारे में ज्यादा जानकारी दिए बगैर कहा कि उस व्यक्ति में मंकीपॉक्स के लक्षण थे और वह विदेश में एक मंकीपॉक्स रोगी के निकट संपर्क में था। 

पशुओं से इंसानों में फैलता है वायरस

विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के अनुसार, मंकीपॉक्स एक वायरल जूनोसिस (पशुओं से इंसान में फैलने वाला वायरस) है। इसमें पूर्व में चेचक के रोगियों में देखे गए लक्षणों के समान लक्षण होते हैं।हालांकि, इलाज की दृष्टि से यह कम गंभीर है। 1980 में चेचक के खात्मे और उन्मूलन और उसके बाद इसके टीकाकरण की समाप्ति के बाद मंकीपॉक्स बड़ा ऑर्थोपॉक्सवायरस के रूप में उभरा है। 

 



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