Sri Lanka Crisis: सुब्रमण्यन स्वामी बोले- इस तरह कोई भी लोकतांत्रिक देश नहीं रहेगा सुरक्षित, राजपक्षे मदद मांगें तो भारत को देनी चाहिए सैन्य सहायता 


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श्रीलंका संकट को लेकर पूर्व भाजपा सांसद सुब्रमण्यन स्वामी में कहा है कि ऐसे हालात में भारत को श्रीलंका को सैन्य मदद से पीछे नहीं हटना चाहिए। स्वामी ने ट्वीट कर कहा- गोटाबाया और महिंदा राजपक्षे दोनों ही प्रचंड बहुमत के साथ एक स्वतंत्र चुनाव में चुने गए थे। भारत भीड़ को ऐसे वैध चुनाव को पलटने की अनुमति कैसे दे सकता है? तब हमारे पड़ोस का कोई भी लोकतांत्रिक देश सुरक्षित नहीं रहेगा। अगर राजपक्षे भारत की सैन्य मदद चाहते हैं तो हमें देनी चाहिए।  

भारत ने सेना भेजने की मीडिया रिपोर्ट का किया खंडन 
बता दें कि श्रीलंका में सोशल मीडिया में इस तरह की खबरें चल रही हैं कि भारत सैन्य दखल दे सकता है। लेकिन भारत ने साफ तौर पर इसका खंडन किया है। कोलंबो में भारतीय उच्चायोग ने कहा कि भारत द्वारा श्रीलंका में अपनी सेना भेजने के बारे में मीडिया और सोशल मीडिया में रिपोर्टों का स्पष्ट रूप से खंडन करते हैं। ये रिपोर्ट और ऐसे विचार भारत सरकार की स्थिति के अनुरूप नहीं हैं।  

प्रदर्शनकारियों का राष्ट्रपति भवन पर कब्जा  
श्रीलंका में प्रदर्शनकारियों का प्रदर्शन उग्र होता जा रहा है। सभी प्रदर्शनकारियों ने राष्ट्रपति भवन को अपने कब्जे में ले लिया है। इनका कहना है कि बदलाव के जिस वक्त का हम इंतजार कर रहे थे, वो आ गया है। वहीं, राष्ट्रपति राजपक्षे ने 13 जुलाई को इस्तीफा देने का एलान कर दिया है। इतना ही नहीं बढ़ती हिंसा को देखते हुए प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने पहले ही इस्तीफा दे दिया।  

राष्ट्रपति का पता नहीं, प्रदर्शनकारियों ने शुरू की तलाश
प्रदर्शनकारियों के डर से राष्ट्रपति गोतबाया कल रात आर्मी हेडक्वार्टर में छिप गए थे लेकिन मीडिया रिपोर्ट के अनुसार आज सुबह उन्होंने वहां से भी अपना ठिकाना बदल लिया है। फिलहाल उनका पता नहीं चल रहा है आखिर वे छिपे कहां हैं। हालांकि, प्रदर्शनकारी राष्ट्रपति को हर जगह खोज रहे हैं।
वहीं, हिंसक प्रदर्शन के बीच श्रीलंका सरकार के दो मंत्रियों हरिन फर्नांडो और मानुषा ननायाक्करा ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है।

श्रीलंका के सेना प्रमुख ने लोगों से की अपील
श्रीलंका के सेना प्रमुख जनरल शैवेंद्र सिल्वा ने रविवार को कहा कि मौजूदा राजनीतिक संकट को शांतिपूर्ण तरीके से हल करना चाहिए। उन्होंने लोगों से मुद्दे को एकजुट होकर हल करने की मांग की है।

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श्रीलंका संकट को लेकर पूर्व भाजपा सांसद सुब्रमण्यन स्वामी में कहा है कि ऐसे हालात में भारत को श्रीलंका को सैन्य मदद से पीछे नहीं हटना चाहिए। स्वामी ने ट्वीट कर कहा- गोटाबाया और महिंदा राजपक्षे दोनों ही प्रचंड बहुमत के साथ एक स्वतंत्र चुनाव में चुने गए थे। भारत भीड़ को ऐसे वैध चुनाव को पलटने की अनुमति कैसे दे सकता है? तब हमारे पड़ोस का कोई भी लोकतांत्रिक देश सुरक्षित नहीं रहेगा। अगर राजपक्षे भारत की सैन्य मदद चाहते हैं तो हमें देनी चाहिए।  

भारत ने सेना भेजने की मीडिया रिपोर्ट का किया खंडन 

बता दें कि श्रीलंका में सोशल मीडिया में इस तरह की खबरें चल रही हैं कि भारत सैन्य दखल दे सकता है। लेकिन भारत ने साफ तौर पर इसका खंडन किया है। कोलंबो में भारतीय उच्चायोग ने कहा कि भारत द्वारा श्रीलंका में अपनी सेना भेजने के बारे में मीडिया और सोशल मीडिया में रिपोर्टों का स्पष्ट रूप से खंडन करते हैं। ये रिपोर्ट और ऐसे विचार भारत सरकार की स्थिति के अनुरूप नहीं हैं।  

प्रदर्शनकारियों का राष्ट्रपति भवन पर कब्जा  

श्रीलंका में प्रदर्शनकारियों का प्रदर्शन उग्र होता जा रहा है। सभी प्रदर्शनकारियों ने राष्ट्रपति भवन को अपने कब्जे में ले लिया है। इनका कहना है कि बदलाव के जिस वक्त का हम इंतजार कर रहे थे, वो आ गया है। वहीं, राष्ट्रपति राजपक्षे ने 13 जुलाई को इस्तीफा देने का एलान कर दिया है। इतना ही नहीं बढ़ती हिंसा को देखते हुए प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने पहले ही इस्तीफा दे दिया।  

राष्ट्रपति का पता नहीं, प्रदर्शनकारियों ने शुरू की तलाश

प्रदर्शनकारियों के डर से राष्ट्रपति गोतबाया कल रात आर्मी हेडक्वार्टर में छिप गए थे लेकिन मीडिया रिपोर्ट के अनुसार आज सुबह उन्होंने वहां से भी अपना ठिकाना बदल लिया है। फिलहाल उनका पता नहीं चल रहा है आखिर वे छिपे कहां हैं। हालांकि, प्रदर्शनकारी राष्ट्रपति को हर जगह खोज रहे हैं।

वहीं, हिंसक प्रदर्शन के बीच श्रीलंका सरकार के दो मंत्रियों हरिन फर्नांडो और मानुषा ननायाक्करा ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है।

श्रीलंका के सेना प्रमुख ने लोगों से की अपील

श्रीलंका के सेना प्रमुख जनरल शैवेंद्र सिल्वा ने रविवार को कहा कि मौजूदा राजनीतिक संकट को शांतिपूर्ण तरीके से हल करना चाहिए। उन्होंने लोगों से मुद्दे को एकजुट होकर हल करने की मांग की है।



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