अहम फैसला: अगले साल से सभी वाहनों के लिए फिटनेस जांच जरूरी, परिवहन मंत्रालय ने लोगों से मांगी राय


सरकार अगले साल से सभी वाहनों की फिटनेस जांच अनिवार्य करने जा रही है। इसके लिए अप्रैल, 2023 तक नए स्वचालित परीक्षण स्टेशन (एटीएस) लगाए जाएंगे, जिसे निजी कंपनियां संचालित करेंगी।

सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा कि एटीएस के जरिये वाहनों की फिटनेस जांच को चरणबद्ध तरीके से अनिवार्य बनाने की योजना है। इसे लेकर जनता की राय जानने के लिए मसौदा अधिसूचना जारी की गई है। एटीएस में वाहन की फिटनेस जांच आवश्यक विभिन्न जांच मैकेनिकल उपकरण की मदद से स्वचालित तरीके से की जाती है।

मसौदा अधिसूचना में कहा गया है कि इस योजना को चरणबद्ध तरीके से लागू किया जाएगा। भारी मालवाहन वाहनों और भारी यात्री मोटर वाहनों के लिए एटीएस के जरिये फिटनेस जांच एक अप्रैल, 2023 से अनिवार्य है।

वहीं, मध्यम आकार वाले मालवाहक वाहनों, यात्री वाहनों और हल्के मोटर वाहनों (परिवहन) के लिए एक जून, 2024 से फिटनेस जांच जरूरी है। यह अधिसूचना पिछले साल केंद्र की वाहन कबाड़ नीति के बाद आई है। इसमें 15 साल पुराने वाणिज्यिक वाहन और 20 साल पुराने निजी वाहनों के लिए फिटनेस जांच जरूरी की दी गई है।

प्रमाणपत्र रिन्युअल में दो साल का अंतर
अधिसूचना में फिटनेस प्रमाणपत्र के रिन्युअल के लिए दो साल का अंतर रखने का प्रस्ताव रखा गया है। 8 साल पुराने वाणिज्यिक वाहनों के लिए फिटनेस जांच के दो साल बाद रिन्युअल प्रणामपत्र जारी किया जाएगा। हालांकि, इससे कम पुराने वाहनों के लिए यह अंतर एक साल रहेगा।

पिछले साल मंत्रालय ने कहा था कि विशेष प्रयोजन वाहनों, राज्य सरकारों, कंपनियों, संघों और व्यक्तियों के निकाय जैसी संस्थाओं को व्यक्तिगत एवं परिवहन दोनों वाहनों की फिटनेस के परीक्षण के लिए एटीएस खोलने की अनुमति दी जा सकती है। निजी वाहन (गैर-परिवहन) के लिए फिटनेस परीक्षण पंजीकरण के नवीनीकरण के समय (15 वर्ष के बाद) किया जाता है।

सिंगल विंडो क्लीयरेंस सिस्टम से पंजीकरण की सुविधा
सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय की ओर से जारी दिशा-निर्देशों के मुताबिक, स्वचालित परीक्षण स्टेशन के पूर्व पंजीकरण या पंजीकरण के लिए सिंगल विंडो क्लीयरेंस सिस्टम प्रदान की जाएगी। पंजीकरण अधिकारी राज्य के परिवहन आयुक्त के स्तर या इससे ऊपर का होगा।

परिवहन मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक, देश में 51 लाख हल्के मोटर वाहन हैं, जो 20 साल से ज्यादा पुराने हैं। 34 लाख वाहन 15 साल से ज्यादा पुराने हैं। करीब 17 लाख मध्यम एवं भारी वाणिज्यिक वाहन 15 साल से ज्यादा पुराने हैं, जिनके पास वैध फिटनेस जांच प्रमाणपत्र नहीं हैं।

लोगों को मानसिक रूप से जागरूक करेंगे : सचिव
सड़क परिवहन एवं राजमार्ग सचिव गिरिधर अरमाने ने कहा कि वाणिज्यिक एवं निजी वाहनों के लिए एटीएस के जरिये फिटनेस जांच जरूरी है। भारी वाणिज्यिक वाहनों के लिए यह अगले साल से जरूरी है। हालांकि, निजी वाहन मालिकों को कुछ समय दिया जाएगा। हम अधिक एटीएस स्थापित करने के साथ वाहनों के फिटनेस जांच के लिए लोगों को मानसिक रूप से जागरूक करेंगे।

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