राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता Madhabi Mukherjee अस्पताल में भर्ती, कई रोगों से पीड़ित हैं एक्ट्रेस; नब्ज है स्थिर


चारुलता जैसी फिल्मों के लिए सत्यजीत रे (Satyajit Ray’s Charulata) के साथ काम कर चुकीं बंगाली अभिनेत्री माधबी मुखर्जी (Madhabi Mukherjee) का नाम भारतीय सिनेमा में दिग्गज अभिनेत्रियों में शुमार हैं. उन्होंने टॉलीवुड इंडस्ट्री में खूब काम किया है, उन्हें लेकर एक बड़ी खबर आ रही है. जानकारी के मुताबिक, अभिनेत्री को कोलकाता में अस्पताल में भर्ती कराया गया है. इस खबर को सुनते ही माधबी के करीबी और फैंस उनके जल्द ठीक होने की कामना कर रहे हैं. उन्हें पुराने दर्द के चलते वुडलैंड्स मल्टीस्पेशलिटी हॉस्पिटल ले जाया गया.

माधबी को लंबे वक्त तक रहा एनीमिया और डायबिटीज

अस्पताल द्वारा जारी एक बयान में दावा किया गया है कि दिग्गज अभिनेत्री बुढ़ापे से संबंधित बीमारियों से पीड़ित हैं. 80 साल के मुखर्जी लंबे समय तक एनीमिया (Anaemia)और अनियंत्रित मधुमेह (uncontrolled diabetes) से जूझ रही हैं. मेडिकल रिपोर्ट के अनुसार, ‘उनके दर्द के मूल कारण का पता लगाने के लिए टेस्ट लिए जा रहे हैं. PTI की रिपोर्ट के अनुसार, अस्पताल द्वारा जारी बयान में यह भी कहा गया है, ‘वे एयर रूम में है और उसकी नब्ज स्थिर है. डॉक्टरों की एक टीम उनके स्वास्थ्य की स्थिति पर कड़ी नजर रख रही है.’

कोविड के चलते नहीं हो सकी पूरी जांच

मीडिया से बातचीत में अभिनेत्री की बेटी मिमी भट्टाचार्य ने बंगाली में बताया, ‘कोविड के कारण, हम मां को अस्पताल ले जाने और पूरी तरह से जांच कराने में असमर्थ थे. लेकिन उनका शुगर लेवल अचानक बढ़ने के बाद हमने चिकित्सकीय पेशेवरों (medical professionals) से सलाह ली और फिर उन्हें अस्पताल में भर्ती करने का फैसला किया.’ अभिनेत्री जाहिर तौर पर पिछले कुछ समय से पीड़ित थी.

माधबी को मिल चुका राष्ट्रीय पुरस्कार

महान फिल्म निर्माता सत्यजीत रे (legendary filmmaker Satyajit Ray) की पसंदीदा अभिनेत्रियों में से एक के रूप में जानी जाने वाली मुखर्जी ने ‘चारुलता’ सहित कई समीक्षकों द्वारा प्रशंसित बंगाली फिल्मों में अभिनय किया है. उन्होंने सौमित्र चटर्जी और बंगाली सिनेमा के अग्रदूत उत्तम कुमार (Soumitra Chatterjee and Uttam Kumar) के साथ अभिनय किया है. मुखर्जी ने ‘दिब्रत्रिर कब्या’ (‘Dibratrir Kabya) में अपने प्रदर्शन के लिए ‘सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री’ का राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार जीता था. उनकी कुछ प्रसिद्ध फिल्में मृणाल सेन की ‘बैशे श्रवण’, ऋत्विक घटक की ‘सुवर्णरेखा’ और ‘मेघे ढाका तारा’ हैं. रे के लिए उन्होंने ‘महानगर’, ‘घरे बैरे’ और ‘कपूरुश’ में काम किया.

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